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लेखनी कहानी -31-May-2022 गीत : जबसे तुमसे मुहब्बत हम करने लगे

गीत : जबसे तुमसे मुहब्बत हम करने लगे 

जबसे तुमसे मुहब्बत हम करने लगे 
खूबसूरत से अरमान सजने लगे 
बेकरारी में हद से गुजरने लगे 
अनगिनत सपने आंखों में पलने लगे 
जबसे तुमसे मुहब्बत हम करने लगे 
खूबसूरत से अरमान सजने लगे ।। 

नजन जब नजर से टकरा गई 
हाले दिल हमको तेरा वो बतला गई 
थरथराते लबों का इशारा हुआ 
दिल मुहब्बत में तेरा दीवाना हुआ 
इश्क की आंच पे हम सुलगने लगे 
अनगिनत सपने आंखों में पलने लगे 
जबसे तुमसे मुहब्बत हम करने लगे 
खूबसूरत से अरमान पलने लगे ।।

रात दिन अब तो तेरे खयाल आते हैं 
अपनी बांहों में मुझको सुला जाते हैं 
चांदनी की तरह से तू आती है 
घर मेरा रोशनी से तू भर जाती है 
शबनमी ओस में हम झुलसने लगे 
अनगिनत सपने आंखों में पलने लगे 
जबसे तुमसे मुहब्बत हम करने लगे 
खूबसूरत से अरमान पलने लगे 
बेकरारी में हद से गुजरने लगे 
अनगिनत सपने आंखों में पलने लगे 

हरिशंकर गोयल "हरि" 
31.5.22 


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7 Comments

Neelam josi

02-Jun-2022 01:55 AM

बहुत खूब

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Rajeev pandey

01-Jun-2022 09:38 AM

Wow💐

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Seema Priyadarshini sahay

01-Jun-2022 07:38 AM

सुंदर👌👌

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